विराम चिन्ह

विराम चिन्ह 
                 भावों या विचारों को स्पष्ट करने के लिए जिन चिन्हों  प्रयोग वाक्य के बीच या अंत में किया जाता है, उन्हें विराम  चिन्ह कहा जाता | विराम का शाब्दिक अर्थ होता है ठहराव |
 वार्ता करते समय  वाणी गति  समानता नहीं होती , अर्थात अपना आशय ठीक प्रकार से व्यक्त करने के लिए हमे विराम चिन्हों की जरुरत पड़ती है |
                              उदहारण : रोको ,मत जाने दो |
                                            : रोको मत , जाने दो |
    उपयोगिता
                वाक्यों के अर्थ में स्पष्टता आती है |
                चिन्हों के  प्रयोग से वाक्यों  में उतार चढ़ाव के लाया जा सकता है |
   पूर्ण विराम : (   |   )----  पूरी तरह ठहरना 
                                        उदहारण --    गोरा रंग | यह हाथी है | 
   अल्प विराम : (  , ) ---  न्यूनतम विराम के लिए
                                       उदाहरण --   प्रिय महाशय, मैं आपका आभारी हूँ |  
  अर्द्ध   विराम : (  ; ) --- वाक्यांश को दर्शाने के लिए 
                                      उदाहरण-- परिश्रम किया है ; मुझे अच्छे अंक मिलेंगे | 

  प्रश्नवाचक चिन्ह : ( ? )  जहाँ प्रश्न पूछने का भाव होता है 
                                       जहाँ  स्थिति निच्शित न  हो| 
                                     उदाहरण --  क्या तुम कल  स्कूल जाओगी? 
  उद्धरण : ( " ") ( '   ' ) --   किसी किताब से कोई वाक्य ज्यों का त्यों  लिया हो |
                                  जैसे - "जीवन विश्व की संपत्ति है "
 विस्मयादिबोधक ( !) -- हर्ष , विवाद , घृणा आदि भावों को व्यक्त  करने हेतु 
      उदाहरण --            अल्लाह तुम्हारा भला करे !
 लाघव (.)---    शब्द को संक्षिप्त करने के लिए 
उदाहरण --    डॉक्टर को  डॉ. 
 हंसपद (   ^ ) -- छूटा हुआ अंश दर्शाने के लिए 
उदाहरण-- 
 योजक चिन्ह (-)--  जब दो शब्दों में एक सार्थक और दूसरा निर्थक हो | 
                             जब दो संयुक्त क्रियाएं एक साथ प्रयुक्त हो |
                                 उदाहरण--- उठना - बैठना
                             निश्चित संख्यावाचक विशेषण के जब दो पद एक साथ प्रयुक्त हो | 
                              जैसे -     दो -चार  

 व्युत्पादक ( > ) -- शब्द की उत्पत्ति  दर्शाने के लिए 
   जैसे -- संस्कृत > पाली > प्राकृत 

 पादटिप्पणं (*) --  किसी शब्द कथन का सन्दर्भ बताने  शब्द के पास  या तो पहले या अंत मैं ये  चिन्ह लगे जाता है | 
उदाहरण 
 कोष्ठक  ( ) -- कोष्ठक में उस  सामग्री को रखा जाता है जो मुख्या  अंग होते हुए भी पृथक  है | 
उदाहरण -- अफ्रीका के नीग्रो (हब्शी ) काले होते हैं  
 विवरण चिन्ह ( :-  ) --- किसी विषय अथवा  बातों  को समझाने के लिए  
उदाहरण --- संज्ञा के भेद :-  व्यक्तिवाचक, भाववाचक  
 रेखांकन (____) महत्वपूर्ण शब्द को रेखांकन करने हेतु 
उदाहरण
 लोप चिह्न (×)  ---  रिक्त स्थानों को बताने के लिए लोप चिन्ह का प्रयोग किया जाता 
                               जब वाक्य या अनुच्छेद में कुछ अंश छोड़कर लिखना हो  चिन्ह का प्रयोग किया जाता |  

 तीर्थक चिन्ह (  /) -- दो शब्दों के बीच  अंतर या विकल्प बताने के लिए 
उदाहरण -- छात्र / छात्रा 
 पाद बिंदु   (  ) हिंदी अरबी ,फारसी से आये शब्दों के नीचे लगने वाला चिह्न | 
उदाहरण -- क़ाग़ज़ 
 समाप्त सूचक ( --*--) जब एक लेख समाप्त हो जाता है ,तब इस चिन्ह का प्रयोग  किया जाता | 
उदाहरण --- 
समता /बराबर ( =) शब्दों के मूल्यों को बराबर बताने के लिए 
           उदाहरण --- मनमोहन = मनीष 

Comments

  1. सर , तीर्थक चिन्ह की जगह तिर्यक चिन्ह आयेगा |

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